अनुगमन वेग क्या है?


अनुगमन वेग क्या है?
प्रत्येक चालक पदार्थ जैसे सभी धातुओं में बहुत अधिक संख्या मे मुक्त इलेक्ट्रॉन चालक पदार्थ के भीतर यादृच्छिक गति करते रहते हैं। कमरे के तापमान (27°C) पर इन मुक्त इलेक्ट्रॉनों की औसत चाल बहुत उच्च लगभग 10^5 मीटर/सैकेण्ड होती है।इस यादृच्छिक गति के दौरान मुक्त इलेक्ट्रॉन धातु के धनायनो से बार बार टकराते हैं जिससे इनकी गति की दिशा बदलती जाती है। जब सभी इलेक्ट्रॉनों का अध्ययन करते हैं तो उनकी यादृच्छिक गति औसतन शून्य होती है। जिस कारण किसी विशेष दिशा मे विद्युत धारा का नेट प्रवाह शून्य होता है। अत: चालक मे कोई धारा नही स्थापित नही होती है।

जब चालक के दोनो सिरो पर वैद्युत विभवान्तर लगाते हैं तो चालक के प्रत्येक बिन्दु पर विद्युत क्षेत्र प्रयुक्त हो जाता है।

विद्युत क्षेत्र मुक्त इलेक्ट्रॉन पर बाह्य बल लगाकर उन्हे पॉजिटिव टर्मिनल की और त्वरित करता है। इन इलेक्ट्रॉनों की फिर से पॉजिटिव आयनो से बार बार टक्कर होती है ,जो उनके द्वारा प्राप्त की गयी उच्च वेग को कम कर देता है।

यही उच्च वेग जिससे इलेक्ट्रॉन विद्युत क्षेत्र के प्रभाव में किसी चालक धातु के भीतर प्रवाहित होते हैं ,अनुगमन वेग (drift velocity) कहते हैं। मुक्त इलेक्ट्रॉनों के लिए अनुगमन वेग 10^-5मीटर/सैकेण्ड की कोटि का होता है। इसे Vd से प्रदर्शित करते हैं।

•Relation between current & drift velocity

[I= neAVd]

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